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धनतेरस की रात बेटे ने पिता को मार डाला: बहू पर गलत नजर के कारण भड़का विवाद, चाकू से कई वार

Raipur Crime News : रायपुर: छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में एक ऐसी सनसनीखेज घटना सामने आई है, जहां रिश्तों की डोर खून से लाल हो गई। धनतेरस की रात को एक बेटे ने अपने ही पिता की जान ले ली। यह हत्याकांड परिवार के अंदरूनी विवाद का शिकार बना, जहां पिता की बहू पर गलत नजरें पड़ने से बार-बार झगड़े होते थे। पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है और आरोपी बेटे को गिरफ्तार कर लिया गया है।

घटना की पूरी कहानी: रिश्तों का कत्ल

रायपुर के उरला इलाके के सरोरा स्थित मजदूर नगर में रहने वाले देव प्रसाद सेन (उम्र अज्ञात) की हत्या उसके ही बेटे सोनू सेन ने कर दी। पुलिस के अनुसार, धनतेरस की शाम सब कुछ सामान्य था। घर में दीवाली की तैयारियां चल रही थीं, लेकिन रात होते ही पुराना विवाद फिर भड़क उठा। देव प्रसाद लंबे समय से सोनू की पत्नी यानी अपनी बहू पर गलत निगाह रखते थे। इस बात को लेकर पिता-पुत्र के बीच अक्सर तीखी नोंकझोंक होती रहती थी।

Raipur Crime News :

मंगलवार रात को यही विवाद फिर से शुरू हो गया। ASP लखन पटले ने बताया, “घर के बाहर विवाद के दौरान सोनू ने चाकू से अपने पिता पर कई बार वार कर दिए। लहूलुहान हालत में देव प्रसाद घर के अंदर दाखिल हुए। बहू ने ससुर की हालत देखी, लेकिन तब तक उनकी सांसें थम चुकी थीं।” घटनास्थल पर पहुंची पुलिस ने शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया है। प्रारंभिक जांच में हत्या का कारण पारिवारिक विवाद ही सामने आया है।

परिवार का दर्दनाक पहलू

Raipur Crime News :  यह घटना न सिर्फ एक परिवार को बर्बाद कर गई, बल्कि पूरे इलाके में सनसनी फैला दी। सोनू की पत्नी ने पुलिस को बताया कि वह इस तरह के विवादों से तंग आ चुकी थी, लेकिन कभी सोचा भी नहीं था कि बात इतनी आगे बढ़ जाएगी। पड़ोसियों का कहना है कि देव प्रसाद मजदूर थे और परिवार आर्थिक तंगी से जूझ रहा था, जो विवादों को और हवा देता था।

पुलिस की कार्रवाई और आगे की जांच

Raipur Crime News :  रायपुर पुलिस ने सोनू के खिलाफ हत्या का केस दर्ज कर लिया है। ASP लखन पटले ने कहा, “आरोपी को हिरासत में ले लिया गया है। फॉरेंसिक टीम घटनास्थल का मुआयना कर रही है। पूरे मामले की गहन जांच की जा रही है।” पुलिस ने अपील की है कि परिवारों में ऐसे विवादों को सुलझाने के लिए समय रहते काउंसलिंग ली जाए, ताकि ऐसी त्रासदी दोबारा न हो।